कौन है भारत का सबसे रईस मुस्लिम बिजनेसमैन? तीन पीढ़ियों का जमा-जमाया व्यापार, रोजाना कर देता है 27 करोड़ दान।
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अजीम प्रेमजी की कंपनी विप्रो आज भारत की सबसे प्रतिष्ठित आईटी कंपनियों में से एक है. अजीम प्रेमजी की गिनती दुनिया के सबसे बड़े दानदाताओं में होती है.
जब भी भारत के सबसे सफल बिजनेस शख्सियतों की बात होती है तो एक नाम जो सबसे ऊपर आता है वो है- अजीम प्रेमजी. प्रेमजी भारत के सबसे अमीर और सबसे बड़े दानदाताओं में गिने जाते हैं. पिता के निधन के बाद उन्होंने विप्रो की कमान संभाली और इसे IT और सॉफ्टवेयर की दुनिया में स्थापित कर दिया.
प्रेमजी परिवार देश का एक ऐसा मुस्लिम बिजनेसमैन फैमिली है, जिसने तीन पीढ़ियों से व्यापार की दुनिया में अपनी छाप छोड़ी है. फिलहाल अजीम प्रेमजी इसकी अगुवाई कर रहे हैं.
साल 1947 में जब देश का बंटवारा हुआ, तब पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना ने अजीम प्रेमजी के पिता मोहम्मद प्रेमजी को पाकिस्तान आने और वहां वित्त मंत्री बनने का प्रस्ताव दिया था. लेकिन मोहम्मद प्रेमजी ने भारत में ही रहने और अपने बिजनेस को आगे बढ़ाने का फैसला किया. उनके इसी फैसले ने प्रेमजी परिवार को भारत का सबसे संपन्न मुस्लिम बिजनेस फैमिली बना दिया.
कहां से हुई शुरुआत?
अजीम प्रेमजी का जन्म 1945 में मुंबई में हुआ. उनके पिता मोहम्मद प्रेमजी तेल के कारोबार में थे. वे पहले म्यांमार में व्यापार करते थे, लेकिन 1940 के दशक में भारत आकर बस गए. 1965 में उनके बड़े बेटे फारुख प्रेमजी पाकिस्तान चले गए, लेकिन अजीम प्रेमजी ने भारत में रहकर अपने पिता की विरासत को आगे बढ़ाने का फैसला किया.
अपने पिता की मृत्यु के बाद अजीम प्रेमजी ने उनके व्यवसाय की कमान संभाली. उन्होंने तेल के कारोबार को सफलतापूर्वक आगे बढ़ाया, लेकिन इसके अलावा कुछ नया करने की चाहत भी थी. 1977 में उन्होंने अपनी कंपनी का नाम बदलकर विप्रो रखा और आईटी सेक्टर में कदम रखा.
1980 के दशक में भारत में कंप्यूटर और टेक्नोलॉजी का विकास हो रहा था. भविष्य में IT की अहमियत समझते हुए अजीम प्रेमजी ने विप्रो को एक आईटी कंपनी के रूप में स्थापित किया. उन्होंने इंटरनेशनल कंपनियों के साथ पार्टनरशिप की और विप्रो को भारत की टॉप आईटी कंपनियों में शामिल कर दिया. आज विप्रो दुनिया की अग्रणी आईटी कंपनियों में से एक है, जिसका मार्केट कैप करीब 3 ट्रिलियन रुपये है.
दान के मामले में भी नंबर वन
अजीम प्रेमजी न केवल भारत के सबसे अमीर मुस्लिम बिजनेसमैन हैं, बल्कि वे देश के सबसे बड़े परोपकारी व्यक्तियों में भी गिने जाते हैं. फोर्ब्स के अनुसार, उनकी कुल संपत्ति 12.2 बिलियन अमेरिकी डॉलर यानी लगभग 1 लाख करोड़ रुपये है.
Hurun India Philanthropy List के अनुसार, 2021 में अजीम प्रेमजी ने 9,713 करोड़ रुपये दान किए. अगर इसे रोजाना के हिसाब से कैलकुलेट करें तो यह प्रतिदिन 27 करोड़ रुपये के बराबर है.
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