मांगें पूरी नहीं होने पर एसटी कर्मचारी भूख हड़ताल की स्थिति में रहकर एसटी सेवा बंद कर देंगे
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लंबित वित्तीय मांगों को लेकर एसटी कर्मचारी भूख हड़ताल पर जाने की तैयारी कर रहे हैं. प्रदेश भर के एसटी कर्मचारी 13 फरवरी से संभागीय स्तर पर भूख हड़ताल शुरू करेंगे.
मुंबई: लंबित वित्तीय मांगों को लेकर एसटी कर्मचारी भूख हड़ताल पर जाने की तैयारी कर रहे हैं. प्रदेश भर के एसटी कर्मचारी 13 फरवरी से संभागीय स्तर पर भूख हड़ताल शुरू करेंगे. साथ ही भूख हड़ताल के बाद भी मांगें नहीं मानी गईं तो महाराष्ट्र राज्य परिवहन कर्मचारी संघ ने चेतावनी दी है कि एजीएआर स्तर पर ‘काम रोको’ आंदोलन शुरू कर एसटी सेवाएं बंद कर दी जाएंगी.
सितंबर 2023 में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की उपस्थिति में मान्यता प्राप्त ट्रेड यूनियन के साथ बैठक कर 15 दिनों के भीतर महंगाई भत्ता, मकान किराया भत्ता और वार्षिक वेतन वृद्धि के बकाया भुगतान के संबंध में निर्णय लेने पर सहमति बनी. लेकिन 4 माह बीत जाने के बाद भी अब तक बैठक नहीं हो सकी है. इससे एसटी कार्यकर्ता काफी नाराज हैं. समिति ने एसटी कर्मियों को सातवां वेतन आयोग लागू करने, सेवानिवृत्त कर्मियों के लंबित भुगतान आदि मांगों पर मान्यता प्राप्त संगठन से चर्चा कर 60 दिनों के अंदर सरकार को रिपोर्ट सौंपने पर सहमति जतायी है. लेकिन 60 दिन के बजाय 4 माह की अवधि बीत जाने के बाद भी रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं की गयी है.
इन सभी लंबित मांगों को पूरा करने के लिए संगठन ने 13 फरवरी से अनिश्चितकालीन अनशन शुरू करने के लिए 1 जनवरी को एसटी निगम को नोटिस दिया था। इस नोटिस पर संज्ञान लेते हुए एसटी कॉर्पोरेशन के उपाध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक ने सहमति व्यक्त की है कि 13 फरवरी से पहले संगठन के साथ एक बैठक आयोजित की जाएगी और वित्तीय मुद्दों के समाधान के लिए शासन स्तर पर अनुवर्ती कार्रवाई की जाएगी. एसटी कर्मचारियों की सभी लंबित मांगें पूरी नहीं होने पर 13 फरवरी से राज्य के सभी संभाग स्तर पर संगठन के नेतृत्व में अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल शुरू की जायेगी. महाराष्ट्र राज्य परिवहन श्रमिक संघ के अध्यक्ष संदीप शिंदे ने चेतावनी दी है कि भूख हड़ताल के बाद भी अगर राज्य सरकार और प्रशासन ने कोई ठोस निर्णय नहीं लिया तो एसटी सेवाएं बंद कर दी जाएंगी.
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