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    April 21, 2025

    PlayStation और एक्सबॉक्स की लगेगी वाट, बदल जाएगी दुनिया; रूस लाएगा अपना गेमिंग कंसोल।

    1 min read
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    रूस प्लेस्टेशन और एक्सबॉक्स को टक्कर देने की तैयारी कर रहा है. दरअसल, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के एक आदेश के बाद रूस अपने खुद के गेमिंग कंसोल डेवलप कर रहा है. आइए आपको इसके बारे में बताते हैं.

    Gaming Console: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के एक आदेश के बाद रूस अपने खुद के गेमिंग कंसोल डेवलप कर रहा है. इस आदेश में कहा गया था कि देश को अपने खुद के गेमिंग हार्डवेयर और डिलीवरी सिस्टम बनाने चाहिए. पहले कंसोल को एल्ब्रस प्रोसेसर पावर देगा, जिसे मॉस्को सेंटर ऑफ एसपीएआरसी टेक्नोलॉजीज द्वारा डेवलप किया गया है. यह ऑरोरा या ऑल्ट लिनक्स ऑपरेटिंग सिस्टम पर चलेगा. वहीं, दूसरे इनिशिएटिव को दूरसंचार कंपनी एमटीएस के नेतृत्व में फॉग प्ले पेश करती है, जो एक $45 का क्लाउड-आधारित गेमिंग प्लेटफॉर्म है, जो यूजर्स को हाई-एंड पीसी के मालिकों से कंप्यूटिंग पावर किराए पर लेने की सुविधा देता है.

    गेमिंग कंसोल बनाने में दिक्कतें
    हालांकि, रूस अपने देश में ही गेमिंग कंसोल बनाने की कोशिश कर रहा है. लेकिन इस काम में उसे बहुत सारी मुश्किलें आ रही हैं. रूसी अधिकारियों ने भी इस बात को माना कि उन्हें कंसोल के डेवलपमेंट में तकनीकी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. राज्य ड्यूमा सूचना नीति समिति के उपाध्यक्ष एंटोन गोरेल्किन ने स्वीकार किया कि एल्ब्रस-आधारित सिस्टम मौजूदा प्लेस्टेशन 5 या एक्सबॉक्स सीरीज कंसोल के परफॉर्मेंस से मेल नहीं खा सकता है.

    कमजोर प्रोसेसर
    टेकस्पॉट की रिपोर्ट के मुताबिक रूस अपने कंसोल में एक प्रोसेसर का इस्तेमाल कर रहा है जो दूसरे देशों के प्रोसेसर जितना तेज नहीं है. दूसरे देशों के प्रोसेसर वाले कंसोल बहुत तेज गेम चला सकते हैं, लेकिन रूस का कंसोल उतना तेज गेम नहीं चला पा रहा है. इस समस्या को दूर करने के लिए अधिकारी इस बात पर जोर देते हैं कि उनके कंसोल पर ऐसे गेम खेले जाएं जो रूस में ही बनाए गए हों. वे दूसरे देशों के बड़े गेम अपने कंसोल पर नहीं लाना चाहते.

    रूस क्यों बना रहा है अपना कंसोल
    रूस दूसरे देशों पर निर्भर नहीं रहना चाहता. वह अपनी खुद की तकनीक बनाना चाहता है, इसलिए वह अपना गेमिंग कंसोल भी बना रहा है.

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