केंद्र से राज्यों को 1.11 लाख करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त कर्ज, जानिए 2023-24 में किन राज्यों को होगा सबसे ज्यादा फायदा…
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केंद्र सरकार ने विशेष सहायता योजना के तहत चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से जनवरी की अवधि के लिए राज्यों को 1.11 लाख करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त ऋण वितरित किया है।
नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने विशेष सहायता योजना के तहत चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से जनवरी की अवधि के लिए राज्यों को 1.11 लाख करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त ऋण वितरित किया है। केंद्रीय वित्त मंत्री पंकज चौधरी ने सोमवार को लोकसभा को बताया कि यह ऋण राज्यों को पूंजीगत व्यय के लिए दिया गया है।
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2024-25 के बजट में राज्यों को पूंजीगत व्यय के लिए ब्याज मुक्त ऋण उपलब्ध कराने के प्रावधान को बढ़ा दिया था। इस प्रावधान को 1.10 लाख करोड़ रुपये से बढ़ाकर 1.50 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया। इसका उद्देश्य राज्यों को बुनियादी ढांचे और अन्य सुधारों पर अधिक पूंजी खर्च करने की अनुमति देना था।
चौधरी ने लोकसभा में एक लिखित उत्तर में इस बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार राज्यों को पूंजीगत व्यय के लिए विशेष सहायता प्रदान करने की योजना लागू करती है। इसमें से 31 जनवरी तक 1.22 लाख करोड़ रुपये के ऋण स्वीकृत किये जा चुके हैं। इसमें से 1.11 लाख करोड़ रुपये के ऋण वितरित किये जा चुके हैं। 15वें वित्त आयोग के अनुसार, यह ऋण राज्यों को केन्द्रीय करों और शुल्कों में उनकी हिस्सेदारी को ध्यान में रखते हुए आवंटित किया जा रहा है। प्रदान की गई राशि में से 95,000 करोड़ रुपये विशिष्ट नागरिक-केंद्रित क्षेत्रों और क्षेत्रवार विशेष परियोजनाओं के लिए ऋण के रूप में भी प्रदान किए जाएंगे। इसमें राज्यों द्वारा शुरू की गई परियोजनाओं को वित्तपोषित करना शामिल है, जैसे विश्व स्तरीय पर्यटन केन्द्रों का निर्माण, औद्योगीकरण को बढ़ावा देना, तथा पुराने वाहनों को हटाना।
2023-24 में सबसे अधिक लाभ किसे होगा?
– बिहार – 11,522 करोड़ रुपये
– उत्तर प्रदेश – 10,795 करोड़ रुपये
– मध्य प्रदेश – 10,166 करोड़ रुपये
– पश्चिम बंगाल – 9,729 करोड़ रुपये
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