दांडी मार्च में महात्मा गांधी ने पहनी थी जो माला, लंदन नीलामी में नहीं मिला कोई खरीदार।
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महात्मा गांधी द्वारा किए गए ऐतिहासिक दांडी मार्च में पहनी गई माला को नीलामी में कोई खरीदार ही नहीं मिला. यह नीलामी लंदन में आयोजित की गई थी.
आजादी के लिए महात्मा गांधी ने किए आंदोलन किए. उनका अहिंसात्मक विरोध दुनिया भर में आज भी याद किया जाता है. गांधी जी द्वारा 1930 में नमक के लिए किया गया दांडी मार्च भी प्रमुख आंदोलन था. दांडी मार्च के दौरान महात्मा गांधी को एक माला पहनाई गई थी. जो कि संग्रह में रखी थी. हाल ही में उसको लंदन में नीलामी के लिए रखा गया, लेकिन कोई खरीदार नहीं मिलने से यह बिक नहीं पाई.
करीब 21 लाख रुपए थी कीमत
गांधी के निजी चिकित्सक के संग्रह से प्राप्त इस माला की अनुमानित कीमत £20,000-£30,000 (21 लाख से 30 लाख रुपए) थी. लेकिन इस माला को कोई खरीदार नहीं मिला. जबकि इसी नीलामी में कई भारतीय कलाकृतियां भी थीं, जो अच्छे दामों पर बिकीं. यह नीलामी ल्योन और टर्नबुल नीलामी घर द्वारा आयोजित की गई थी. जिसमें महात्मा गांधी की इस माला समेत कई इस्लामिक और भारतीय कलाकृतियों की ऑनलाइन बिक्री के लिए रखी गईं थीं.
ब्रिटिश शासन के खिलाफ सफल अभियान
दांडी मार्च भारत में ब्रिटिश शासन के खिलाफ गांधी जी द्वारा चलाए गए सबसे सफल अभियानों में से एक था. इस मार्च के दौरान ही गांधी जी ने यह माला पहनी थी. यह माला गुलाबी कपड़े, कार्ड, सोने के धागे, सेक्विन और गुजराती में लिखे मुड़े हुए कागज के आवरण से बनी है. जो कि गांधीजी के निजी चिकित्सक डॉ. बलवंतराय एन कानुगा के संग्रह में थी.
इसके साथ एक तस्वीर भी रखी गई थी. इस धुंधली तस्वीर में उनकी पत्नी नंदूबेन को गांधी के गले में यह माला डालते हुए दिखाया गया है. कैप्शन में लिखा है, ”गांधीजी नंदूबेन कनुगा. दांडी मार्च के दिन बंगले पर 12 मार्च 1930″. इससे पता चलता है कि जब दांड़ी मार्च का जुलूस कनुगा के अहमदाबाद स्थित घर के पास से गुजरा तो गांधीजी को यह माला भेंट की गई.
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