मिडकैप स्टॉक्स: रिजर्व बैंक को क्यों हुई शेयर बाजार की टेंशन? सेबी ने भी दी चेतावनी, आखिर क्या है मामला?
1 min read|
|








हाल ही में सेबी ने शेयर बाजार की तेजी को लेकर चिंता जताई थी. सेबी प्रमुख ने कहा था कि बाजार ने पिछले 3 महीनों में जबरदस्त रिटर्न दिया है, छोटे और मिडकैप सेक्टर की कई कंपनियों की वैल्यूएशन रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गई है।
ऐसे में निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए, जिसके बाद पिछले 2 हफ्ते से बाजार में गिरावट देखने को मिल रही है। सेबी के बाद आरबीआई ने भी शेयर बाजार में स्मॉल और मिडकैप शेयरों के ‘बुलबुले’ पर चिंता जताई है.
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने भी अपने बुलेटिन में स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों में बुलबुले को लेकर चेतावनी जारी की है. आरबीआई ने अपने मासिक बुलेटिन में कहा कि हाल के दिनों में बाजार में तेजी जारी है। बड़े कैप तेजी से बढ़ रहे हैं लेकिन मिड और स्मॉल कैप तेजी से बढ़ रहे हैं।
यह बुलेटिन रिज़र्व बैंक का मासिक प्रकाशन है, जिसमें घरेलू और वैश्विक अर्थव्यवस्था पर महत्वपूर्ण जानकारी और विचार शामिल हैं, लेकिन यह रिज़र्व बैंक की राय नहीं है। रिजर्व बैंक का कहना है कि भारतीय शेयरों में एफपीआई की हिस्सेदारी एक दशक के निचले स्तर 16.3% पर पहुंच गई है।
केंद्रीय बैंक का कहना है कि रुपया लगातार मजबूत हो रहा है। इसमें कहा गया, ‘अक्टूबर-दिसंबर 2023 तिमाही में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) 11.4 फीसदी बढ़ा और इससे रुपया भी मजबूत हुआ.’ रिजर्व बैंक के मुताबिक, बॉन्ड यील्ड 9 महीने के निचले स्तर पर है और कॉरपोरेट बॉन्ड की मजबूत मांग है।
आरबीआई मिड और स्मॉल कैप शेयरों के बारे में चेतावनी जारी करने वाला पहला बैंक नहीं है। म्यूचुअल फंड उद्योग निकाय एएमएफआई ने सेबी से प्राप्त एक ईमेल के आधार पर 27 फरवरी को एक सर्कुलर जारी किया था। इसमें म्यूचुअल फंड के ट्रस्टियों से सेबी की चेतावनी को ध्यान में रखते हुए ऐसी नीतियां बनाने को कहा गया ताकि इन योजनाओं में निवेशकों का पैसा सुरक्षित रहे.
About The Author
|
Whatsapp बटन दबा कर इस न्यूज को शेयर जरूर करें |
Advertising Space












Recent Comments